कोएक्सिअल केबल क्या है? | Coaxial Cable in Hindi

Coaxial Cable एक तरह की इलेक्ट्रिकल केबल होती है जिसमे सेंट्रल कंडक्टर एक इंसुलेटेड लेयर, एक मेटल की ढाल तथा बाहरी इंसुलेटेड जैकेट से घिरा हुआ होता है। सामान्यतः इसका उपयोग हाई फ्रीक्वेंसी सिग्नल जैसे केबल टेलीविज़न सिग्नल, इंटरनेट डाटा तथा रेडियो सिग्नल्स में होता है। कोएक्सिअल केबल की शील्डिंग पावर अच्छी होती है। टेलीकम्यूनिकेशन तथा नेटवर्किंग एप्लीकेशन में इसका बहुत उपयोग किया जाता है।

कोएक्सिअल केबल का इतिहास (History of Coaxial Cable)

19वीं सदी में ब्रिटिश भौतिक शास्त्री ओलिवर हीविसाइड ने इलेक्ट्रिकल इंटरफेरेंस कम करने के लिए एक मेटालिक शील्ड का उपयोग करने का सुझाव रखा। फिर भी वर्ष 1930 के बाद ही कोएक्सिअल केबल का विकास तथा व्यवसायीकरण शुरू हुआ था। पर जल्दी ही कोएक्सिअल केबल का उपयोग केबल टेलीविज़न, टेलीकम्यूनिकेशन तथा मिलिटरी में भी बढ़ गया। क्यूंकि कोएक्सिअल केबल कम से कम सिग्नल की हानि तथा मिनिमम इंटरफेरेंस के हाई फ्रीक्वेंसी सिग्नल्स को ट्रांसमिट करने में सछम है।

वर्त्तमान में कोएक्सिअल केबल की उच्च बैंडविथ, trustworthy तथा durable होने की वजह से बहुत सारे networking ऍप्लिकेशन्स के लिए इसका उपयोग ही किया जाता है।

Coaxial Cable in Hindi

कोएक्सिअल केबल के प्रकार (Types of Coaxial Cable)

कोएक्सिअल केबल मुख्य रूप से निम्न प्रकार की होती हैं। प्रत्येक कोएक्सिअल केबल की अपनी विशेषताएं होती हैं, जिसमे सिग्नल फ्रीक्वेंसी की रेंज, सिग्नल हानि, केबल की साइज तथा कीमत आदि होती है।

  1. RG-59
  2. RG-6
  3. RG-11
  4. Triaxial Cable
  5. Mini-Coaxial Cable
  6. Micro-Coaxial Cable

RG-59

यह कोएक्सिअल केबल सस्ती होती है, जिसका उपयोग सामान्यतः केबल टेलीविज़न आदि में होता है जिनमे लो बैंडविथ सिग्नल की जरुरत होती है। तथा यह उनके लिए अच्छा है जिनमे low फ्रीक्वेंसी ट्रांसमिशन होता है।

RG-6

यह उच्च क्वालिटी की कोएक्सिअल केबल होती है, जिसका उपयोग उच्च डेफिनिशन टेलीविज़न, केबल मॉडेम आदि में होता है। तथा जिनमे उच्च बैंडविथ की आवश्यकता होती है।

RG-11

यह एक बड़ी कोएक्सिअल केबल होती है, इसका उपयोग ज्यादा समय तक केबल चलाने तथा ज्यादा दूर तक हाई बैंडविथ सिग्नल्स को ट्रांसमिट करने के लिए किया जाता है।

Triaxial Cable

इस प्रकार की कोएक्सिअल केबल में उच्च फ्रीक्वेंसी सिग्नल को अतिरिक्त शील्डिंग तथा आइसोलेशन प्रदान करने के लिए इसमें एक बजाय तीन कंडक्टर होते हैं।

Mini-Coaxial Cable

इस प्रकार की कोएक्सिअल केबल छोटी तथा कम वजन वाली होती है जिसका उपयोग कम दूरी के कनेक्शन्स जैसे टेलीकम्यूनिकेशन, ब्रॉडकास्टिंग आदि में होता है।

Micro-Coaxial Cable

यह भी एक छोटी कोएक्सिअल केबल होती है जिसका उपयोग मेडिकल equipment, instrumentation तथा अन्य विशेष एप्लीकेशन आदि में उच्चा फ्रीक्वेंसी सिग्नल्स के लिए किया जाता है।

कोएक्सिअल केबल के उपयोग (Use of Coaxial Cable)

कोएक्सिअल केबल का उपयोग निम्न जगहों पर होता है :

  1. कोएक्सिअल केबल का उपयोग केबल कंपनियों द्वारा घरों तथा बिज़नेस में टेलीविज़न सिग्नल्स को ट्रांसमिट करने के लिए किया जाता है।
  2. घरों तथा बिज़नेस में हाई स्पीड इंटरनेट प्रदान करने के लिए इसका उपयोग किया जाता है।
  3. इसका उपयोग सिक्योरिटी सिस्टम में भी किया जाता है जैसे सिक्योरिटी कैमरों से मॉनिटर तथा रिकॉर्डिंग डिवाइस के लिए वीडियो सिग्नल ट्रांसमिट करने के लिए किया जाता है।
  4. इसका उपयोग मिलिटरी तथा एयरोस्पेस में भी किया जाता है ताकि ख़राब environment में भी डाटा तथा सिग्नल्स का ट्रांसमिशन हो सके।
  5. टेलीकम्यूनिकेशन में
  6. मेडिकल उपकरणों में

कोएक्सिअल केबल के लाभ (Advantages of Coaxial Cable)

  1. कोएक्सिअल केबल में हाई फ्रीक्वेंसी ट्रांसमिट करने की छमता होती है।
  2. यह इलेक्ट्रोमैग्नेटिक इंटरफेरेंस के विरुद्ध अच्छी शील्डिंग प्रदान करता है।
  3. इसमें लम्बी दूरी होने पर भी कम सिग्नल लॉस होता है।
  4. इसको जमीन के नीचे भी इनस्टॉल कर सकते है तथा यह हार्श environment में भी काम करता है।
  5. कोएक्सिअल केबल विभिन्न साइज, अलग अलग रेंज तथा अन्य विशेषताओं में उपलब्ध है।

कोएक्सिअल केबल से होने वाली हानि (Disadvantages of Coaxial Cable)

  1. अन्य इलेक्ट्रिकल केबल की तुलना में कोएक्सिअल केबल महंगी पड़ सकती है।
  2. यह केबल्स भरी होती हैं तथा इनमे फ्लेक्सिबिलिटी भी नहीं होती हैं।
  3. अन्य इलेक्ट्रिक केबल की तुलना में कोएक्सिअल केबल का इंस्टालेशन कठिन होता है।
  4. कोएक्सिअल केबल कुचले जाने या bend हो जाने जैसी फिजिकल डैमेज के लिए कमजोर हो सकती है।
  5. कोएक्सिअल केबल हाई फ्रीक्वेंसी सिग्नल्स के लिए बनाई गयी है यह लौ फ्रीक्वेंसी सिग्नल्स के लिए उपयुक्त नहीं है।
  6. यह सभी प्रकार के इक्विपमेंट या कनेक्टर्स के साथ अनुकूल नहीं हो सकता है इसके लिए एडाप्टर की भी जरूरत पड़ सकती है।

इतने disadvantage होने के बावजूद इसके हाई बैंडविथ, लो सिग्नल लॉस तथा अच्छी शील्डिंग पावर जैसी capability होने कारण बहुत सारे टेलीकम्यूनिकेशन तथा ब्रॉडकास्टिंग ऍप्लिकेशन्स के लिए लोकप्रिय विकल्प है।

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