क्रिप्टोकरेंसी क्या है? – Cryptocurrency in Hindi

आज के time में जिस तरह से क्रिप्टोकरेन्सी को लेकर भगदड़ मची है। उससे उन सभी लोगो को पछतावा होता है जिन्होने इस करेन्सी के शुरू होने पे इसको बकवास बोला था। पर, आज के समय पे Cryptocurrency मार्केट में बाहुबली बन चुका है। और इसके बढ़ते चलन के कारण हमे इसके बारे में जानना भी काफी important है।

इसीलिए आज इस आर्टिकल में आपको cryptocurrency से जुड़े लगभग सभी बातों को समझाने की कोशिश करूंगा ।

क्रिप्टोकरेंसी क्या है? - Cryptocurrency in Hindi

क्रिप्टोकरेंसी क्या है?

Crypto-currency दो शब्दों से मिलकर बना है। जो की क्रिप्टो लैटिन भाषा के cryptography और currency भी लैटिन भाषा के currentia से लिया गया है।

जँहा cryptography का मतलब होता है। छुपा – हुआ, और currency का मतलब रुपया व पैसा होता है ।

खैर, इसिलए Cryptocurrency को secret money या फिर डिजिटल रुपया भी कहते है।

वैसे तो आपने कुछ Cryptocurrencies के बारे में कहीं न कहीं तो सुना ही होगा। जैसे की Bitcoin, Ripple, Ethereum और Dogecoin आदि।

पर पिछले कुछ सालों से बिटकोईन को लोगो ने बहुत पसंद किया है।

जिसको 2008 में एक अनजान व्यक्ति ने या फिर अनजान लोगों के समूह ने बनाया था। और सातोशी नाकामोतो नाम का इस्तेमाल किया था। पर 2014 में सातोशी नाकामोतो ने खुद प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस बात को मानने से इंकार कर दिया। 2009 में बिटकॉइन सार्वजनिक कर दिया गया था।

क्रिप्टोकरेंसी काम कैसे करता है?

Peer to Peer Network

इसके लिए हम एक example लेते हैं। मानाकि मैंने दो बिटकॉइन buy किया, और उनमें से एक को बेच दिया। तो इसकी जानकारी को सार्वजनिक खाता बही यानि की public ledger में save किया जाता है। और इसे सुरक्षित रखने के लिए कई सारे कम्प्युटर्स में, कई सारे लोगो की help से public ledger को जारी रखा जाता है। इसे maintain रखने वाले इस प्रोसेस को ही peer to peer network या फिर person to person network कहते है। और इसे maintain रखने वाले लोगो को miners कहते है।

इसको मुम्किन करने के पीछे blockchain technology का use किया गया है।

Blockchain

इसके लिए हम फिर से एक example लेंगे। जैसे की, एक माल गाड़ी में उसके माल के हिसाब से डब्बे जोड़े जाते है। ठीक उसी हिसाब से blockchain technology में भी एक block भरने पे दूसरा ब्लॉक को जोड़ दिया जाता है। ऐसे ही सारे blocks पिछले public ledger के हर जानकारी से जुड़ी होती है। और ये blockchain एक कम्प्यूटर में ही नहीं, सारे कम्प्युटर्स में सभी के लिए पारदर्शिता के साथ उपलब्ध होता है। इसी वजह से अगर कोई जरा सा भी धोखा-धड़ी करना चाहे तो वो तुरंत ट्रैक हो जाता है। ऐसा नही है की, इन सभी प्रोसेस में बहुत समय लगता है। बल्कि ये तो कुछ पलों में होने वाले काम है।

इन सभी कामों में किसी को खुद से कुछ नहीं करना होता, जबकि ये सब तो उनके स्पेशल कम्प्युटर्स और स्पेशल सॉफ्टवेयर की हेल्प से किया जाता है। जिसके बदले उन्हें कुछ Cryptocurrencies मिलती है।

Cryptography

क्योंकि अब सारा DATA पब्लिक में मौजूद होगा। तो आप डर रहे होंगे, पर डरने की बात वंही खतम हो जाती है। जब आपको ये पता लगेगा की cryptography से इस डाटा को कोड्स के रूप में लिखा जाता है। जिससे किसी को भी आपके पास कितना बैलेंस है या आपकी कोई भी जानकारी लीक न हो सके।

Cryptography की वजह से ही Cryptocurrency को लोगो ने खूब पसंद किया है। क्योंकि ये किसी देश, banks या किसी संस्था के कंट्रोल में नहीं होने के साथ ही सभी देशों के currency के वैल्यू से परे है।

For example एक dollar का दाम india के 74 रूपये के आस-पास होता है।  ऐसे ही सभी देशों की currency की वैल्यू अलग अलग होती है।

Cryptocurrency Price

अकसर हम सुनते है की आज बिटकॉइन का दाम गिर गया। तो कभी सुनते है की आज बिटकॉइन का दाम बढ़ गया। ये सब इसकी पॉपुलारिटी पर निर्भर करता है।

क्योंकि हर Cryptocurrency में कितने coins बनेगे ये चीज पहले से ही तय किया होता है।

जैसे की बिटकॉइन को 21 मिलियन तक ही सीमित रखा गया है। जिसकी वजह से आज के time में 1 bitcoin का दाम भारत में लगभग  35 लाख है।

और इसकी Price इस बात पर भी निर्भर करता है की कम्पनी, इन्वेस्टर्स और किस देश में किस हिसाब से इसको लीगल माना जाता है या नहीं।

जैसे की इंडिया में अभी Cryptocurrency को केवल ट्रेड के लिए ही लीगल माना जाता है। हांलाकि भारत सरकार द्वारा क्रिप्टो रेगुलेशन पर काम जारी है।

Cryptocurrency के फायदे

विकेंद्रीकरण यानि की Decentralized होने के कारण, Cryptocurrency को न ही कोई देश, न ही कोई सरकार और न ही कोई organisation कंट्रोल करती है।

बल्कि ये सभी लोगों के जरिये कण्ट्रोल किया जा रहा है। इसमें सभी को सबसे बड़ा फायदा ये नज़र आता है की, उनके देश या सरकार के फैसलों की वजह से उनके पैसे की वैल्यू पे कोई असर नहीं पड़ेगा।

  • कोई इसे कण्ट्रोल नहीं करता।
  • एकसमान करेंसी की वैल्यू सभी देशों में।
  • कोई भी इसे हैक नहीं कर सकता क्योंकि ब्लॉकचैन का इस्तेमाल होता है।

Cryptocurrency के नुकसान

अगर इस करेंसी के फायदा हैं, तो नुकसान भी है। क्योंकि जब कोई सरकार या कोई organisation इसे कंट्रोल नहीं कर रही है, तो आप अपनी समस्या को लेके किसके पास जाओगे? क्योंकि जब इसे कोई कण्ट्रोल ही नहीं कर रहा है, तो आप अपनी कम्प्लेन कहाँ लेकर जाएँगे।

और क्योंकि ये एक secret currency है, तो इसका use गैरकानूनी कामो में भी किया जाता है। जैसे की हैकर्स आजकल क्रिप्टोकोर्रेंसी का ही डिमांड करते है। और DARK WEB पे क्रिप्टोकोर्रेंसी का use काफी पहले से ही होता आ रहा है। तो इसी तरह कई unethical कामो में इसका use किया जाता है।

और क्योंकि इसके प्रोसेस में स्पेशल कम्प्यूटर्स का use होता है। जो काफी ऊर्जा की खपत करता हैं। और ये पर्यावरण के लिए हानिकारक है।

  • किसी के कण्ट्रोल में ना होने के कारण यूजर अपनी समस्या को कहीं नहीं ले जा सकता।
  • गैरकानूनी कामो में इस्तेमाल।
  • अत्यधिक ऊर्जा की खपत।

निष्कर्ष

तो अब-तक मैंने आपको cryptocurrency का पास्ट और वर्तमान दोनों आपके सामने रखा हैं। जो की इसके सीक्रेट मनी के फायदों को भी गिनाते हैं। तो इसके बुराईओं को भी समझाने की कोशिश करता है। चाहे वो इसके blockchain टेक का स्मार्टली use करना, पूरी दुनिया के किसी भी देश में अपनी वैल्यू को एक समान रखना हो या फिर पूरी जानकारी पारदर्शिता से सभी के लिए बिना किसी गलती करे प्रस्तुत रखना। या फिर सभी के हाथ में कण्ट्रोल करने की सुविधा का देना ही क्यू न हो।

मै यही कहना चाहूंगा की, अगर इसमें बुराईयाँ है तो अच्छाईयाँ भी है। बस depend इसपर करता है की कब कौन सी चीज़ इसपर हावी होगी।

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